उत्तराखंड की पौराणिक प्रेम कहानी राजुला मालुसाई बहुत प्रसिद्ध है. अब तक उत्तराखंड की वादियों में गाया जाने वाला राजुला मालुसाई लोकगीत अब देश के हर कोने में गुगुनाया जाएगा. दरअसल उत्तराखंड मूल से आने वाली सुमधुर गायिका नेहा कक्कड़ और कमला देवी ने उत्तराखंड के लोक गीत राजुला मालुसाई को कोक स्टूडियो के मंच पर “सुनचड़ी” सोंग के रूप में नया रूप देने की कोशिश की है. कॉक स्टूडियो ने इसे बुधवार को लॉन्च किया है और इस गीत को उत्तराखंड की फोक थीम में बनाया गया है. कोक स्टूडियो के माध्यम से राजुला मालुसाई की अमर प्रेम कथा अब पूरे देश और दुनिया में जानी जाएगी, जिसे एक अलग स्तर पर ले जाने का काम किया है उत्तराखंड की लोक कलाकार कमला देवी ने.
वैसे तो उत्तराखंड की वादियों में राजुला मालुसाई कई लोक कलाकारों द्वारा गाया जाता रहा है. लेकिन कमला देवी ने इसे अलग स्तर पर ले जाने का काम किया है. वहीं कोक स्टूडियो की बात करें तो यह एक अंतरराष्ट्रीय ब्रांड है, जो दुनिया भर में अपने क्वालिटी म्यूसिक के लिए जाना जाता है और कोक स्टूडियो लोकल फोक को अंतर्राष्ट्रीय मंच देने का भी काम करता है. दरअसल बुधवार को कोक स्टूडियो से रिलीज हुआ “सुनचड़ी” गीत पूरी तरह से उत्तराखंड के फोक पर केंद्रित है. राजुला मालुसाई को अब तक जिस तरह से उत्तराखंड की खूबसूरत वादियों में गाया गया है, वही टच कोक स्टूडियो ने अपने सेट में भी देने का काम किया गया है. उत्तराखंड के कल्चर के साथ साथ इस गाने में यहां के पहाड़, जंगल और खेतों की झलक देखने को मिल रही है. इस गाने में कमला देवी के साथ साथ बॉलीवुड की मशहूर सिंगर नेहा कक्कड़ भी मौजूद हैं.